Friday 14 December 2012

Raika Bio-cultural Protocol

हम क्षेत्र की जैव विविधता, हमारे पशु आनुवंशिक संसाधनों और जुड़े पारंपरिक ज्ञान की रक्षा के लिए प्रतिबद्ध है:

जंगलों के संरक्षक के रूप में और सह विकसित क्षेत्र के वन पारिस्थितिकी तंत्र को बनाये रखनेवाले के रूप में हमारे पारंपरिक भूमिका को कायम रखने;

चराई द्वारा घास के विकास के विनियमन और जंगल की आग से लड़ने जब ​​वे फट निकले, तब आग के खिलाफ वन की रक्षा;

जंगल में शिकार के रूप में हमारे पशुओं के कुछ प्रथागत पेशकश के माध्यम से शिकारी जनसंख्या को कायम रखने;

जंगल में हमारे पशुओं के गोबर से प्रथागत खाद के माध्यम से वन विकास को बढ़ाना जारी

हमारे ऊंटों द्वारा पेड़ों की टहनियाँ और उपरी शाखाओं की और प्रथागत कटाई द्वारा मजबूत पेड़ के विकास को सुनिश्चित करना;

जंगल मंजिल पर गिर पत्ते की चराई जिससे दीमक आबादी जांच में रखना;

जंगल में अवैध कटाई और अवैध शिकार का मुकाबला करना;

सतत हमारे पारंपरिक घूर्णी या मौसमी चराई से वन विकास की सुविधा;

जंगल में आक्रामक प्रजातियों को खत्म करना;

हमारे पशुओं के नस्ल विविधता को बनाए रखना और उत्तेजन 

हमारे राइका कोम का पशु ज्ञान और नवाचारों और पारंपरिक प्रजनन का संरक्षण और उसे जारी रखना और, सह विकसित क्षेत्र के वन पारिस्थितिकी तंत्र के संरक्षण के लिए प्रासंगिक वन संसाधनों के सतत प्रबंधन .

Re-narration by Amrapali in Hindi targeting Rajasthan for this web page

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